कुवैत की एक इमारत में लगी आग की दुखद घटना के बारे में सुनने के बाद से बिहार की एक अधेड़ महिला अपने बेटे को लगातार फोन कर रही है। इस आग में 49 लोगों की मौत हो गई है, जिनमें से ज्यादातर भारतीय हैं। इस घटना में बिहार की एक अधेड़ महिला अपने बेटे के बारे में काफी कुछ जानने की कोशिश कर रही है। काफी कोशिशों के बाद भी उसे अपने बेटे के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल पाई है। मदीना खातून ने बताया कि उसका सबसे बड़ा बेटा कालू खान उसी इमारत में रहता था और शादी के लिए घर लौटने वाला था।
उसने मीडियाकर्मियों को बताया, "मैंने मंगलवार रात करीब 11 बजे उससे फोन पर बात की। उसने मुझे बताया कि वह 5 जुलाई को दरभंगा आएगा, क्योंकि उसकी शादी अगले महीने होने वाली है।" बिहार के दरभंगा जिले के नैना घाट इलाके की रहने वाली खातून ने बताया कि उसका बेटा कई सालों से कुवैत में रह रहा था। गांव वालों के मुताबिक, खान कुवैत में कुशल मजदूर के तौर पर काम कर रहा था।
जब उसे पता चला कि आग उसी इमारत में लगी है, जहां उसका बेटा रहता था, तो उसने घबराकर उससे संपर्क करने की कोशिश की। लेकिन वह मेरे फोन कॉल का जवाब नहीं दे रहा है। कालू खान की गमगीन मां ने कहा, "हमें उसके ठिकाने के बारे में कोई जानकारी नहीं है।" "वह मेरा सबसे बड़ा बेटा है। हमने इस संबंध में संबंधित अधिकारियों से संपर्क करने का प्रयास किया, लेकिन हमारे सभी प्रयास व्यर्थ रहे।
हमने दूतावास के अधिकारियों को उसकी तस्वीरें भेजी हैं। अब हम अपडेट का इंतजार कर रहे हैं। हम जिला प्रशासन के संपर्क में भी हैं।" खातून ने रोते हुए कहा, "मैं भगवान से प्रार्थना कर रही हूं कि मुझे अपने बेटे के बारे में कुछ अच्छी खबर मिले।"